चित्रकूट।चित्रकूट के तुलसी पीठाधीश्वर जगद्गुरु रामभद्राचार्य ने समाजवादी पार्टी के नेता चुनावी वैज्ञानिक स्वामी प्रसाद मौर्य के रामचरितमानस को लेकर दिए गए विवादित बयान पर पलटवार किया है। रामभद्राचार्य ने कहा कि गोस्वामी तुलसीदास जी ने संपूर्ण विश्व के कल्याण के लिए रामचरितमानस की रचना की है।रामचरितमानस का कोई भी अंश किसी के अपमान के लिए प्रयुक्त नहीं हुआ है।
रामभद्राचार्य ने कहा कि बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर और यूपी के सपा के एमएलसी स्वामी प्रसाद मौर्य जैसे लोग जिनको करिया अक्षर भैंस बराबर सुनना और पढ़ना भी नहीं आता वह रामचरितमानस पर क्या टिप्पणी करने के अधिकारी हैं। भगवान उनको सद्बुद्धि दें।
रामचरितमानस का उद्घोष सियाराम मय सब जग जानी करब प्रणाम जोर जुग जानी
रामभद्राचार्य ने कहा कि हमको मानव मात्र से प्रेम करना सिखाता है। स्वामी प्रसाद मौर्य इस समय स्वयं पगलाए हुए हैं। सठिया गए हैं। चुनाव में भी हार चुके हैं। जो स्वयं जनता जनार्दन द्वारा पिटा हुआ हो उससे हम क्या अपेक्षा करेंगे। सभी लोग रामचरितमानस का पाठ करें। रामभद्राचार्य ने कहा कि हम सरकार से अनुरोध करते हैं कि श्रीरामचरितमानस को राष्ट्रीय ग्रंथ घोषित किया जाए। यही निम्नतम टिप्पणी का उचित दंड होगा।