लगातार बारिश से दिल्ली में बाढ़ जैसे हालात, धारा 144 लागू , जनता त्रस्त

 

दिल्ली : देश की राजधानी दिल्ली सहित पूरे उत्तर भारत में इन दिनों मानसून की बारिश आफत बनकर बरस रही है। इसबीच लगातार चल रही बारिश ने दिल्ली में बाढ़ जैसे हालात पैदा कर दिए हैं। राजधानी के कई निचले इलाकों में यमुना का पानी घुस गया है। हरियाणा के हथिनीकुंड बैराज से लगातार पानी छोड़े जाने पर यमुना का रौद्ररूप दिख रहा है।

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में मानसूनी बारिश के दौरान यमुना का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है. 45 साल बाद यहां नदी के जलस्तर ने 208 मीटर का आंकड़ा पार कर लिया है. बाढ़ की स्थिति को देखते हुए दिल्ली सरकार अलर्ट है. यमुना का जलस्तर बुधवार रात को 208 मीटर को पार गया है। यानी दिल्ली में यमुना नदी खतरे के निशान से करीब 2 मीटर ऊपर बह रही है।

 

केंद्रीय जल आयोग (CWC) के बाढ़-निगरानी पोर्टल के अनुसार, पुराने रेलवे पुल पर जलस्तर बुधवार (12 जुलाई) सुबह चार बजे 2013 के बाद पहली बार 207 मीटर के निशान को पार कर गया. यह शाम चार बजे तक बढ़कर रिकार्ड 207.71 मीटर के निशान तक पहुंच गया. रात 11 बजे यह बढ़कर 208.08 मीटर हो गया और गुरुवार (13 जुलाई) सुबह आठ बजे तक इसके 208.30 मीटर तक पहुंचने की आशंका .

दिल्ली सरकार के मुताबिक, रात 11 बजे के आसपास का यमुना का जलस्तर केंद्रीय जल आयोग की ओर से 13 जुलाई को सुबह 4 से 6 बजे तक की अवधि के लिए लगाए गए 207.99 मीटर के अनुमान से ज्यादा है.

पुराने रेलवे पुल पर जलस्तर में इजाफा:-

सरकार ने बताया कि पुराने रेलवे पुल पर रात 10 बजे बढ़ोतरी दर्ज की गई. न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, इससे पहले 1978 में दिल्ली में यमुना का जलस्तर 207.49 मीटर पहुंचने का रिकॉर्ड था. बुधवार रात 9 बजे पुराने रेलवे पुल पर यमुना का जलस्तर 207.95 मीटर दर्ज किया गया. इससे पहले रात 8 बजे हथिनीकुंड बैराज से 1,47,857 क्यूसेक पानी छोड़ा गया।

बुधवार रात 10 बजे जलस्तर 208.05 मीटर दर्ज किया गया है। दिल्ली में बुधवार सुबह से लगातार धीरे-धीरे जलस्‍तर बढ़ने की खबरें आती गईं। देर रात इसने अब तक के सभी रिकॉर्ड ध्‍वस्‍त कर दिए। राजधानी ने यमुना में इतना पानी कभी नहीं देखा है। बुधवार रात 10 बजे यमुना का जलस्तर दिल्ली में पुराना रेलवे पुल पर 208.05 मीटर दर्ज़ किया गया। इससे पहले 1978 में यमुना का जलस्तर 207.49 मीटर दर्ज किया गया था।

दिल्ली ने यमुना में इतना पानी कभी नहीं देखा है। नौबत यह आ गई कि आईटीओ तक बाढ़ का पानी आ गया। नॉर्थ दिल्‍ली में भी नदी का पानी दुकानों और घरों में पहुंच गया। हरियाणा ने पानी छोड़ने और इंद्रदेव ने बरसने में ऐसी ‘दरियादिली’ बनाए रखी तो दिल्‍ली का दरिया बनाना भी तय है। दिल्‍ली सरकार भी ऐक्‍शन में आ गई है। जलस्‍तर के खतरे के ऊपर निकल जाने के बाद बुधवार को सीएम अरविंद केजरीवाल ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई। सीएम ने केंद्र से हस्‍तक्षेप की भी गुजारिश की है। उससे यह सुनिश्चित करने के लिए अपील की है कि नदी के स्‍तर को अब और न बढ़ने दिया जाए।

दिल्‍ली में यमुना को देखकर लोगों का ब्‍लड प्रेशर बढ़ रहा है। लोगों ने आज तक कभी यमुना में इतना पानी नहीं देखा है। सरकारी एजेंसियों ने बुधवार को बताया कि यमुना का जलस्तर 1978 में 207.49 मीटर तक पहुंच गया था। अब इस रिकॉर्ड को तोड़ते हुए जलस्तर 208.05 मीटर तक पहुंच गया है। 1978 में दिल्‍ली में बाढ़ आई थी। बड़ी संख्‍या में लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाया गया था। कई इलाके जलमग्‍न हो गए थे। अब दोबारा बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। हरियाणा के हथिनीकुंड बैराज से हर घंटे 1 से 2 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है। 12 जुलाई को आधी रात 1 बजे से लेकर शाम 8 बजे तक हथिनीकुंड बैराज से 30 लाख 70 हजार क्यूसेक से ज़्यादा पानी छोड़ा गया है। इसके चलते पुराना रेलवे पुल पर यमुना का जलस्तर 1978 के रिकॉर्ड को तोड़ चुका है। 100 वर्षों से अधिक समय में पहली बार दिल्ली में यमुना में इतना पानी बह रहा है।

एलजी ने बुलाई डीडीएमए की मीटिंग, सीएम केजरीवाल भी रहेंगे मौजूद:-

दिल्ली में बिगड़ते हालात और खतरनाक होते यमुना के जलस्तर को देखते हुए एलजी वीके सक्सेना ने 13 जुलाई को डीडीएमए की मीटिंग बुलाई है। इस बैठक में बाढ़ के हालात पर चर्चा होगी। इस बैठक में सीएम केजरीवाल भी मौजूद रहेंगे। बैठक में यमुना के जलस्‍तर को काबू में रहने के उपायों पर बातचीत होगी।

यमुना के आसपास धारा 144 लागू:-

दिल्ली में यमुना नदी के आसपास के इलाकों में बने मकान और बाजारों में पानी घुसने के कारण हजारों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित किया गया है. बाढ़ जैसे हालात के मद्देनजर, दिल्ली पुलिस ने एहतियात के तौर पर राष्ट्रीय राजधानी के बाढ़ के लिहाज से संवेदनशील इलाकों में बुधवार को धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी.

उत्तर पूर्वी जिला पुलिस ने यमुना के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए यमुना के आसपास जाने पर पाबंदी लगाते हुए धारा 144 लागू की, यमुना के किनारे से आधा किलोमीटर तक जाने पर पाबंदी। अगले 24 घंटे दिल्ली पर काफी भारी हो सकते हैं। निचले इलाकों में बिगड़ते हालात के बीच एनडीआरएफ ने मोर्चा संभाल लिया है। साढ़े 16 हजार से अधिक लोगों को शिफ्ट किया गया है। गुरुवार सुबह 8 बजे तक पानी का स्तर 208.30 तक पहुंचने की संभावना है।

नॉर्थ दिल्ली में घुसने लगा बाढ़ का पानी:-

नॉर्थ दिल्ली में मोनेस्टरी बाजार में यमुना नदी के बाढ़ का पानी घुस जाने से स्थानीय लोग कपड़े, बर्तन और अन्य वस्तुओं को बचाने के लिए इधर-उधर भागते दिखे। मोनेस्टरी बाजार उन स्थानों में से एक है जो यमुना नदी के रिकॉर्ड स्तर पर बहने से प्रभावित हुआ है।

निचले इलाकों के स्कूल रहेंगे बंद:-

दिल्ली में बाढ़ जैसी स्थिति के कारण एमसीडी के शिक्षा विभाग ने सिविल लाइन्स ज़ोन के निचले इलाकों में 10 स्कूल, शहादरा साउथ ज़ोन में 6 स्कूल और शहादरा नॉर्थ ज़ोन में 1 स्कूल को 13 जुलाई तक बंद करने का फैसला किया है। इन स्कूलों के छात्रों के लिए ऑनलाइन कक्षाएं आयोजित की जाएंगी।

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